डॉ भावना शुक्ल

(डॉ भावना शुक्ल जी  (सह संपादक ‘प्राची ‘) को जो कुछ साहित्यिक विरासत में मिला है उसे उन्होने मात्र सँजोया ही नहीं अपितु , उस विरासत को गति प्रदान  किया है। हम ईश्वर से प्रार्थना करते हैं कि माँ सरस्वती का वरद हस्त उन पर ऐसा ही बना रहे। आज प्रस्तुत है उनकी  हाइकू विधा में  दो कवितायेँ   ‘हाइकु ।)

 

☆ साप्ताहिक स्तम्भ – # 29 साहित्य निकुंज ☆

हाइकु 

[1]

बातें ही बातें

होती है मुलाकातें

मिली मंजिल।

 

जिंदगी जीना

नहीं होता मुश्किल

साथ हो तेरा।

 

कृष्ण की प्रिया

होता दिन है खास

राधा अष्टमी।

 

[2]

 

खुशी का दिन

खुश है अंतर्मन

है शादी तिथि।

 

करो सम्मान

जीवन में तभी तो

मिलेगा मान।

 

चलते चलो

कर्म करते रहो

मिलेगा फल।

 

न हो निराश

करो तुम प्रार्थना

रखना आस।

 

© डॉ.भावना शुक्ल

सहसंपादक…प्राची

wz/21 हरि सिंह पार्क, मुल्तान नगर, पश्चिम विहार (पूर्व ), नई दिल्ली –110056

मोब  9278720311 ईमेल : [email protected]

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